मोदी का वनारस में जलवा, पांडा पाखंडी खाये हलवा /जिस वाराणसी पे मोदी को नाज है घमंड है /उतना नाज अपने जन्म धरती से नहीं होगी /और नाही जितेंगे गुजरात से/ यही भाजपा आरएसएस की पहचान है /की जहा पाखंडी वहा भाजपा जहा आरएसएस वहा भाजपा /2014 में भाजपा सत्ता में आई फिर 2019 में दुबारा /लेकिन मोदी गुजरात से चुनाव नहीं लड़े जीता जागता उदहाहरण है की मोदी आरएसएस का एजेंट है /और कभी देश का भला नहीं होगा मोदी राज में /फिर जनता सोचे हमें कैसा शासक चाहिए /मोदी जैसा झूठा या राहुल गाँधी जैसा झूठा /अंतर फर्क जनता देखे /कौन भला कौन बुरा /ये रैलिया देख जनता छुब्द हो जाती है/ की बाप रे बाप इतना बड़ा रैला भाजपा का ये देश का दुख दर्द मिटाएगी /लेकिन होता इसके बिपरीत जैसे हो मरो हमें क्या /किसी पार्टी को क्या /जन्ता अपनी करनी भोगे /और आज यही मिल रहा है /और जनता को समझ आ गई 07 साल बाद आठ साल में /की मोदी राज कैसा है /हम बाबा साहब भीम राव आंबेडकर के सिपाही चाहने वाले /ये बात जनता को समझा समझा कर परेशान है /की इन भाजपाइयों से देश बचाइए /क्योंकि आज इनका संबिधान अलग है मनुवाद इनसे बचे/इनके अनुसार संबिधान आंबेडकर ने नहीं बनाई /इन्होने बनाई तो सावधान रहे /ये कुछ भी बोल सकते है कर सकते है /अब फैसला आपके हाथ में/ मोदी झूठा या आप झूठे /जय हिन्द जय भीम के मांझी सिवान
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